उड़ा ले गया कोई चलती ट्रेन से जूता. सही सुना आपने. सफर करते समय जूते को छाती से चिपका के सोएं नहीं तो आप भी फेरा में पड़ सकते हैं. 
बिहार के सीतामढ़ी के राहुल कुमार झा का रिजर्वेशन जयनगर क्लोन स्पेशल ट्रेन के बी-4 में था. वो अंबाला स्टेशन से यात्रा कर रहे थे. यात्रा के दौरान उनका  जूता किसी ने टेप लिया और गायब हो गया. यात्री इस बात से परेशान थे कि  ट्रेन  में इनका कौन सा साला या साली पैदा हो गया जो जूतवा ले के भाग गया. यात्री को फिर अहसास हुआ कि कोई लतखोर जूता ले कर रफू चक्कर हो गया. यात्री ने 0 FIR की. अगर आपका कोई सामान ट्रेन में चोरी या खो जाता है तो आप टीटी, वेंडर या गार्ड के कान में ये बात डाल के 0 FIR कर सकते हैं. सबसे आसान रास्ता तो यही होगा की जूता को पंखा के ऊपर या पानी के बोतल वाले स्टैंड में डाल दें. बने रहिए भोकाल के साथ.   
बहुत बार ऐसा भी होता है की जेनरल कोच का जूता पैर से लगते-लगते AC कोच तक पहुँच जाता है. ट्रेन में कभी-कभी जितना ज़्यादा सफर जूता कर लेता है उतना तो यात्री भी नहीं कर पाता. 
खैर 1000 रूपये के जूते को ढूंढ़ने में रेल पुलिस जुट पड़ी क्यूँ की मामला ही इतना गंभीर था. रेल पुलिस से बाक़ी पुलिस वालों को भी सीखने की ज़रूरत है जो काम करने से ज़यदा मटियाना पसंद करते हैं. बने रहिए भौकाल.